मंगलवार, 29 जुलाई 2025

29 जुलाई 2025 : विश्व बाघ दिवस

विश्व बाघ दिवस और भारत में टाइगर रिजर्व संबंधी महत्वपूर्ण जानकारी

(World Tiger Day)

आज का दिन : 29 जुलाई 2025

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  • विश्व बाघ दिवस प्रतिवर्ष 29 जुलाई को मनाया जाता है।
  • सन् 2010 में रूस के सेंट पीटर्सबर्ग में हुए बाघ सम्मेलन में विश्व बाघ दिवस यानी वल्र्ड टाइगर डे मनाने का निर्णय लिया गया था। इसे अंतरराष्ट्रीय बाघ दिवस और ग्लोबल टाइगर डे के नाम से भी जाना जाता है।
  • बाघ सम्मेलन में शामिल हुए 13 देशों ने सन् 2022 तक बाघों की संख्या में दोगुनी बढ़ोतरी का लक्ष्य रखा था। दूसरी ग्लोबल टाइगर समिट या अंतरराष्ट्रीय बाघ फोरम अक्टूबर 2022 में रूस के व्लादिवोस्तोक में हुई। भारत सरकार की ओर से इस पर एक डाक टिकट भी जारी किया गया।
  • विश्व बाघ दिवस अथवा अंतरराष्ट्रीय बाघ दिवस मनाने का उद्देश्य बाघों के संरक्षण के बारे में जागरुकता बढ़ाना है।
  • वल्र्ड वाइल्डलाइफ फंड के अनुसार वर्तमान में दुनिया में 5000 से अधिक बाघ हैं। इनमें भी सर्वाधिक बाघ भारत में हैं।
  • हमारा राष्ट्रीय पशु भी बाघ है। आजादी के बाद से सन् 1972 तक हमारा राष्ट्रीय पशु सिंह था। इसके बाद बाघ यानी रॉयल बंगाल टाइगर को आकर्षक सुन्दरता, ताकत, फुर्तीलेपन और अपार शक्ति के कारण भारत के राष्ट्रीय पशु के रूप में स्वीकार किया गया।
  • रॉयल बंगाल टाइगर यानी राजसी बाघ (Panthera Tigris) एक धारीदार जानवर है। इसकी मोटी पीली रोंयेदार चमड़ी पर गहरी काली धारियां होती हैं। यह बाघ परिवार की एक उप-प्रजाति है और भारत, बांग्लादेश, नेपाल, भूटान, म्यांमार एवं दक्षिण तिब्बत के क्षेत्रों में पाई जाती है।
  • वनों में शिकार और जरूरी संसाधनों की कमी के कारण देश में बाघों की संख्या में भारी गिरावट आई है। 
  • भारत में बाघों के संरक्षण के लिए अप्रेल, 1973 में 'प्रोजेक्ट टाइगर' (बाघ परियोजना) शुरू किया गया। इस परियोजना के तहत देश में अब तक (वर्ष 2025 तक) बाघों के लिए 58 आरक्षित क्षेत्रों की स्थापना की गई है। 2025 में 58वें बाघ संरक्षित क्षेत्र के रूप में मध्य प्रदेश में माधव टाइगर रिजर्व की अधिसूचना जारी की गई।
  • देश में बाघों के संरक्षण का काम राष्ट्रीय बाघ संरक्षण प्राधिकरण (एनटीसीए) की देखरेख में ही चल रहा है।
  • राष्ट्रीय बाघ संरक्षण प्राधिकरण यानी नेशनल टाइगर कंजर्वेशन अथॉरिटी के अनुसार भारत में बाघों को बचाने के लिए 'बाघ बचाओ परियोजना' के तहत चल रही परियोजनाएं 18 राज्यों में संचालित हैं।
  • अब तक बाघों की गणना को लेकर 2006, 2010, 2014, 2018 और 2022 में रिपोर्ट जारी हो चुकी है।
  • राष्ट्रीय बाघ संरक्षण प्राधिकरण की ओर से वर्ष 2025 में हुई बाघ गणना के अनुसार देश में बाघों की संख्या 3,682 है। यानी वर्तमान में भारत में दुनिया के लगभग 70 प्रतिशत बाघ हैं। राष्ट्रीय बाघ संरक्षण प्राधिकरण की ओर से प्रति चार वर्ष में यह गणना करवाई जाती है।
  • राष्ट्रीय बाघ संरक्षण प्राधिकरण ने दुनिया में 13 देशों की पहचान की है, जहां बाघ पाए जाते हैं। भारत ने इन 13 देशों में बाघ संरक्षण की मुहिम चलाने का निर्णय लिया है। ये 13 देश हैं- बांग्लादेश, नेपाल, भूटान, रूस, म्यांमार, नार्थ कोरिया, अफगानिस्तान, लाओस, कंबोडिया, वियतनाम, थाईलैंड, इंडोनेशिया और श्रीलंका।

भारत ने शुरू किया इंटरनेशनल बिग कैट एलायंस

  • भारत में प्रोजेक्ट टाइगर के 50 वर्ष पूरे होने के अवसर पर कर्नाटक के मैसूर में 9 अप्रैल, 2023 को अंतरराष्ट्रीय कार्यक्रम का आयोजन किया गया, जिसमें प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने हमारे ग्रह पर रहने वाली सात बिग कैट बाघ, शेर, तेंदुआ, हिम तेंदुआ, चीता, जगुआर और प्यूमा के संरक्षण के लिए इंटरनेशनल बिग कैट एलायंस (आईबीसीए) का शुभारंभ किया।
  • इस एलायंस का उद्देश्य बाघ, शेर, तेंदुआ, हिम तेंदुआ, चीता, जगुआर और प्यूमा के प्राकृतिक आवासों को कवर करने वाले 97 रेंज देशों तक पहुंचना है। आईबीसीए वैश्विक सहयोग और जंगली जानवरों, विशेष रूप से बिग कैट संरक्षण की कोशिशों को और मजबूत करेगा।

बाघों की 6 प्रमुख प्रजातियां

  • पूरी दुनिया में बाघों की मुख्यत: 6 प्रजातियां पाई जाती हैं। ये इस प्रकार हैं-
  • साइबेरियन बाघ : यह प्रजाति साइबेरिया के सुदूर पूर्वी इलाके अमर-उसर में पाई जाती है। उत्तर-पूर्वी चीन में हुंचुन नेशनल साइबेरियाई टाइगर नेचर रिजर्व रूस के सुदूर पूर्व में भी यह साइबेरियन बाघ की प्रजाति पाई जाती है।
  • बंगाल टाइगर: इस प्रजाति को पेंथेरा टिगरिस के नाम से भी जाना जाता है। यह भारत, बांग्लादेश, नेपाल, भूटान, म्यांमार एवं दक्षिण तिब्बत के क्षेत्रों में पाई जाती है। इसी प्रजाति के बाघ को हमारे राष्ट्रीय पशु होने का गौरव प्राप्त है।
  • इंडोचाइनीज बाघ : यह प्रजाति कंबोडिया, चीन, बर्मा, थाईलैंड और वियतनाम में पाई जाती है।
  • मलायन बाघ : यह प्रजाति मलय प्रायद्वीप में पाई जाती है।
  • सुमात्रा बाघ : यह प्रजाति सुमात्रा द्वीप में पाई जाती है।
  • साउथ चाइना बाघ : यह प्रजाति दक्षिण चीन में पाई जाती है।

देश में अब 58 टाइगर रिजर्व

राष्ट्रीय बाघ संरक्षण प्राधिकरण के अनुसार वर्ष 2025 में अब कुल 58 टाइगर रिजर्व हो गए हैं। देश के 58 टाइगर रिजर्व की राज्य अनुसार सूची इस प्रकार है-

क्रमराज्यटाइगर रिजर्वअधिसूचना वर्ष
1आंध्र प्रदेशनागार्जुनसागर सागर2007
2अरुणाचल प्रदेशनाम्दफा 1987
3अरुणाचल प्रदेशपक्के2012
4अरुणाचल प्रदेशकमलांग2017
5असमनामेरी2000
6असमकाजीरंगा2007
7असममानस2008
8असमओरांग2016
9बिहारवाल्मीकि2012
10छत्तीसगढ़इंद्रावती2009
11छत्तीसगढ़उदंती सीतानदी2009
12छत्तीसगढ़अचानकमार2009
13छत्तीसगढ़गुरु घासीदास तमोर पिंगला 56वां2024
14झारखंडपलामू2012
15कर्नाटकनागरहोल2007
16कर्नाटकबांदीपुर2007
17कर्नाटककाली2007
18कर्नाटकबिलिगिरी रंगनाथ मंदिर2007
19कर्नाटकभद्रा2007
20केरलपरम्बिकुलम2009
21केरलपेरियार2007
22मध्य प्रदेशबांधवगढ़2007
23मध्य प्रदेशपन्ना2007
24मध्य प्रदेशकान्हा2007
25मध्य प्रदेशपेंच2007
26मध्य प्रदेशसतपुड़ा2007
27मध्य प्रदेशसंजय धुबरी2011
28मध्य प्रदेशवीरांगना दुर्गावती (54वां)2023
29मध्य प्रदेशरातापानी (57वां)2024
30मध्य प्रदेशमाधव2025
31महाराष्ट्रमेलघाट2007
32महाराष्ट्रतड़ोभा अंधारी2007
33महाराष्ट्रपेंच-एमएच2007
34महाराष्ट्रबोर2012
35महाराष्ट्रसहयाद्रि2012
36महाराष्ट्रनवेगांव नागजीरा2013
37मिजोरमदम्पा2007
38ओडिसासिमलीपाल2007
39ओडिसासतकोशिया2007
40राजस्थानरणथम्भौर2007
41राजस्थानसरिस्का2007
42राजस्थानमुकुन्दरा2013
43राजस्थानरामगढ़ विषधारी (52वां)2022
44राजस्थानधौलपुर-करौली (55वां)2023
45उत्तराखंडकॉर्बेट2010
46उत्तराखंडराजाजी2015
47उत्तर प्रदेशदूधवा2010
48उत्तर प्रदेशपीलीभीत2014
49उत्तर प्रदेशरानीपुर (53वां)2022
50तमिलनाडुसत्यमंगलम2013
51तमिलनाडुश्रीविल्लिपुथुर मेगामलाई2021
52तमिलनाडुकलाकड़ मुंडनथुराई2007
53तमिलनाडुअनामलाई2007
54तमिलनाडुमुदुमलई2007
55तेलंगानाकवल2012
56तेलंगानाअमराबाद2015
57पश्चिम बंगालसुंदरबन2007
58पश्चिम बंगालबुक्सा2009

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